16 साल की Anjali Roy हैं जज़्बे का बेहतरीन उदाहरण
अभी कुछ दिनों पहले ही पूरे बंगाल में पोइला बैसाख / बंगाली नव वर्ष मना गया है | नव वर्ष के स्वागत के लिए पूरे बंगाल में जगह-जगह समारोह का आयोजन किया जाता है | ऐसे ही एक समारोह में जब दर्शकों ने 16 साल की , Anjali Roy को बेहतरीन नृत्य करते देखा तो सब भौचक्के रह गए |
दरअसल पाँच साल पहले 2013 में जब Anjali Roy 11 साल की थी, तब एक डॉक्टरी जांच में यह बात पता चली की Anjali एक प्रकार के हड्डियों के कैंसर, Osteosarcoma से जूझ रही थी | मात्र 11 साल की Anjali और उसके माता-पिता के लिए यह बात अक बड़े सदमे की तरह थी | उसपर जब डॉक्टरों ने यह कह दिया कि उसकी जान बचाने के लिए उसका बाया पाँव काटना पड़ेगा तो Anjali सहित उनके पूरे परिवार के लिए यह बात हिम्मत तोड़ देने वाली थी | ऐसा इसलिए क्यूंकि सब जानते थे की Anjali के मन में डाँस के प्रति कितना प्रेम है |
जब यह बात डॉक्टरों को पता चली कि Anjali Roy एक नृत्यांगना हैं तो उन्होने पूरे परिवार को बैठा कर उन्हे समझाया और तब जा कर कहीं आगे ऑपरेशन का फैसला लिया गया | Anjali कहती हैं की सारे डॉक्टर बहुत ही सहायक थे और ऑपरेशन के बाद शुरुआती डीनो मे ही उन्होने उसे “नाचे मयूरी” फिल्म भी दिखाई | यह वही फिल्म है, जिसमे पहली बार प्रसिद्ध नृत्यांगना सुधा चंद्रन को कृत्रिम टांगों के साथ नाचता देख कर सारी दुनिया दंग रह गयी थी |
यहाँ से Anjali Roy को प्रेरणा मिली की वो अपनी नृत्य शिक्षा जारी रखें और उसी का नतीजा है की आज वह एक पाँव पर भी बहहरीन नृत्य करती हैं | उनके इस हुनर को देख कर कई संस्थानों ने उन्हे कृत्रिम पाओं उपलब्ध करवा कर उनकी मदद करने का भी प्रस्ताव दिया है |
वाकई, सच ही कहा जाता है कि जहां सच्चा निश्चय और दृढ़ संकल्प हो, वहाँ सब मुमकिन हो जाता है | नेक इन इंडिया कि तरफ से हम Anjali Roy और उनके जज़्बे को सलाम करते हैं और उम्मीद करते हैं कि वो दूसरों को भी ऐसे ही आगे बढ़ने का हौसला देती रहें |
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