Masjid के रास्ते के लिए हिंदुओं ने दान की अपनी ज़मीन
पूर्वी उत्तर प्रदेश के संत कबीर नगर जिले में अयोध्या के विवादित स्थल राम जन्मभूमि / बाबरी Masjid से लगभग 150 किलोमीटर की दूरी पर, सांप्रदायिक सौहार्द और शांतिपूर्ण सह-अस्तित्व का एक अनूठा उदाहरण सामने आया है| हिंदू समुदाय के लोग मस्जिद के लिए रास्ता बनाने के लिए जमीन दे चुके हैं। ये नेक काम, मुसलमानों को नमाज़ के लिए मस्ज़िद तक पहुँचने में आसानी हो, इसलिए किया गया है|
सेमरियावान विकास ब्लॉक के छोटे से गाँव तवैपर में पिछले 20 सालों से मुसलमान, Masjid तक पहुँचने के लिए एक पतली लेन, जिसके आस-पास हमेशा गंदे पानी से भरे गड्ढे होते थे, का इस्तेमाल कर रहे थे|
पेशे से टीचर मुनव्वर हूसेन ने कहा कि मस्जिद 1963 में उस वक़्त के गांव के प्रधान इंसान अली की ज़मीन पर बनाया गया था। लगभग 30 सालों से, मुस्लिम समुदाय के लोग, अलग-अलग लोगों की ज़मीन के टुकड़े पार कर के मस्ज़िद पहुँच रहे थे| लेकिन, गाँव में जनसंख्या बढ़ने से कई लोगों ने अपनी-अपनी ज़मीनों पर दीवारें बना ली थी, जिससे Masjid पहुँचने वाला रास्ता बंद हो गया था|
ग्राम प्रधान उर्मिला देवी ने कहा कि मुस्लिम पिछले 20 सालों से इस समस्या से गुज़र रहे थे, लेकिन इस बात से उनका कभी हिंदू समुदाय से झगड़ा नहीं हुआ| हांलाकि, समस्या बहुत थी और इसे हाल करने के लिए उन्होनें सकरात्मक कदम उठाए ताकि मस्ज़िद के लिए रास्ता बन सके|
ग्राम प्रधान उर्मिला देवी और पूर्व प्रधान बृजेश सिंह के प्रयासों के साथ, चार हिंदुओं-राजेन्द्र सिंह, महेंद्र सिंह, कपिल सिंह और नखेड़ सिंह आगे आए और उन्होंने Masjid के लिए 100 मीटर लंबा मार्ग बनाने के लिए अपनी जमीन दान दी। गाँव के लोकल अशफाक ने कहा कि यह कदम हिंदू-मुस्लिम एकता और भाईचारे को बढ़ावा देने के साथ-साथ समाज के लिए धार्मिक सहिष्णुता का एक उदाहरण भी देगा| मस्जिद के इमाम हसीमुद्दीन अंसारी ने कहा दयालु लोगों ने उनकी समस्या को समझा है| यह कदम मुसलमानों को बहुत बड़ी राहत देगा|